राजनीतिक दुर्भावना से प्रेरित का. मनोज मंजिल सहित 23 लोगों को आजीवन कारावास की सजा निंदनीय : भाकपा माले
दमन व जेल के जरिए दलित-गरीबों की आवाज दबाई नहीं जा सकती :- सारण सचिव सभापति राय
माले कार्यकर्ताओ ने आरा व्यवहार न्यायालय द्वारा दिनांक 13 फरवरी को अगिआंव से माले विधायक का. मनोज मंजिल सहित 23 लोगों को आजीवन कारावास की सजा को राजनीतिक दुर्भावना से प्रेरित बताया है। कहा कि जेल व दमन के जरिए दलितों-गरीबों की आवाज दबाई नहीं जा सकती।
हम अपनी लड़ाई जारी रखेंगे।
उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनाव 2015 के ठीक पहले जेपी सिंह की हत्याकांड मामले में भाजपा के स्थानीय नेताओं के इशारे पर का. मनोज मंजिल और हमारे अन्य पार्टी नेताओं पर हत्या का झूठा मुकदमा थोप दिया गया था।
उस घटना के कुछ दिन पहले ही हमारी पार्टी के स्थानीय नेता का. सतीश यादव की हत्या भाजपाइयों ने कर दी थी।
उनके हत्यारे खुलेआम घूम रहे हैं लेकिन दलित-गरीबों की लड़ाई लड़ने और सड़क पर स्कूल आंदोलन के चर्चित नेता मनोज मंजिल को एक गहरी साजिश के तहत फंसाकर सजा करवा दी गई। भाजपाई और इलाके की सामंती ताकतें मनोज मंजिल की बढ़ती लोकप्रियता से काफी घबराई हुई थी।
एक तरफ जहां हमारे नेताओं को सजा सुनाई गई, वहीं न्यायालय ने दलित-गरीबों के हत्यारे को लगातार बरी करने का काम किया है. बिहार में सत्ता बदलते ही भाजपाई अपने रंग में आ चुके हैं, लेकिन उनके नापाक मंसूबे को कामयाब नहीं होने दिया जाएगा।