
* कुछ शरारती तत्वों के अनावश्यक दबाव व विरोध के कारण कार्य में उत्पन्न हो रही है बाधा
तरैया, सारण।
थाना क्षेत्र के पचरौड़ बाजार स्थित माही नदी पर बन रहा आरसीसी पुल का कार्य कुछ असामाजिक तत्वों के अनावश्यक दबाव व विरोध के कारण अधर में लटक गया है। करीब एक सप्ताह से पुल निर्माण का कार्य बंद है। पुल निर्माण कार्य में लगे दर्जनभर मिस्त्री व मजदूर अपने घर को लौट गए हैं। कार्य में लगे ठेकेदार धीरे धीरे अपना अन्य सामान समेटने लगा है। बताया जाता है कि कुछ असामाजिक तत्व अनावश्यक दबाव बना रहे हैं और पुल निर्माण कार्य का विरोध कर रहे हैं। जिस कारण ऐसी स्थिति उत्पन्न हुई है। बता दें आरसीसी पुल का निर्माण विनय कंस्ट्रक्शन सोनपुर के द्वारा कराया जा रहा है। साइट इंचार्ज दारोगा प्रसाद ने बताया कि इस पुल की लंबाई 10.6 मीटर, चौड़ाई 12 मीटर तथा गहराई टॉप लेवल से 4 मीटर डीप है।

स्थानीय कुछ लोगों का कहना है कि पुल की लंबाई और पाइलिंग की गहराई को और बढ़ाई जाय। पुल की लंबाई अगर नहीं बढ़ाई जाती है तो बाढ़ के समय में पानी आसानी से नहीं निकल पाएगी। विनय कंस्ट्रक्शन के साइट इंचार्ज का कहना है की इंजीनियर के द्वारा बनाए गए नक्शा व एस्टीमेट के अनुसार ही हम काम कर पाएंगे। पुल की लंबाई और लड़ाई हम अपने तरीके से नहीं बढ़ा सकते हैं। जानकारों का कहना है कि पुल की लंबाई बढ़ाने में कई तरह की समस्या आएगी। नदी के जमीन का अतिक्रमण किया गया है। नदी के जमीन पर अवैध निर्माण कर लिया गया है। इस जगह को अतिक्रमण मुक्त किया जाना आवश्यक है। इस कार्य में स्थानीय प्रशासन को हस्तक्षेप करना चाहिए ताकि पुल निर्माण का कार्य समय से पूर्ण हो सके। अन्यथा बरसात एवं बाढ़ की स्थिति में लोगों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है। करण की जो डायवर्सन बना है उसमें ना ही ह्यूम पाइप लगा है और नाही किसी अन्य तरीके से पानी क्रॉस करने की व्यवस्था की गई है। नदी में केवल मिट्टी डालकर छोटी गाड़ियों के आने जाने की व्यवस्था की गई है।

स्थानीय अधिकतर लोगों का कहना है कि कुछ लोग अनावश्यक कार्य में बाधा डाल रहे हैं। इंजीनियर जिस जगह पर पाइलिंग करवाए हैं वह सही जगह है और उस जगह पर पुल निर्माण का कार्य होने देना चाहिए। ताकि लोगों को किसी प्रकार का कोई दिक्कत नहीं हो। कुछ लोग अपने निजी फायदे के लिए अनावश्यक दबाव बना रहे हैं और कार्य में बाधा उत्पन्न कर रहे हैं जो सही नहीं है। समय से कार्य पूर्ण नहीं होने की स्थिति में लोगों को काफी परेशानी हो सकती है। वैसे इंजीनियर द्वारा स्थल की मापी कर पुल की पाइलिंग भी कर ली गई है। परंतु स्थानीय कुछ लोगों के विरोध के कारण कार्य बंद हो गया है। जिससे स्थानीय ग्रामीण व बाजार वासी चिंतित हैं। देखना दिलचस्प होगा कि स्थानीय प्रशासन अवैध कब्जे को हटा पाती है या फिर पुल निर्माण का कार्य उसी जगह पर होगा या निर्माण कार्य अधर में ही लटका रहेगा।
