
वैशाली :- सारण जिले में एक बड़ी आपराधिक साजिश को पुलिस ने समय रहते विफल कर दिया है। जिले के नगर थाना क्षेत्र अंतर्गत न्यू गंडक पुल के पास वाहन जांच के दौरान पुलिस ने दो संदिग्ध अपराधियों को रोकने का प्रयास किया। इस कार्रवाई में एक अपराधी अभिषेक कुमार उर्फ राजा को एक जिंदा कारतूस और बाइक के साथ गिरफ्तार किया गया, जबकि उसके साथ बाइक पर पीछे बैठा एक अन्य युवक मौके से भाग निकला।


पुलिस पूछताछ में चौंकाने वाला खुलासा हुआ कि गिरफ्तार अपराधी अपने गिरोह के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर सारण जिले के एक प्रमुख बैंक — छपरा स्थित आईसीआईसीआई बैंक — को लूटने की योजना बना रहा था। यह डकैती मंगलवार को अंजाम दी जानी थी, जिसके लिए पहले से ही बैंक की रेकी की जा चुकी थी।
साजिश का मास्टरमाइंड ‘फिरंगी’
पूछताछ में पता चला कि इस लूट की योजना का मास्टरमाइंड सदर थाना क्षेत्र का कुख्यात अपराधी विवेक राज उर्फ ‘फिरंगी’ है। इसने अपने गिरोह के अन्य पांच सदस्यों के साथ मिलकर बैंक डकैती की पूरी रूपरेखा तैयार की थी। योजना के अनुसार, लूट के बाद गिरोह का एक सदस्य नवीन कुमार सिंह रुपए से भरा बैग लेकर भागने वाला था, जिसके बदले उसे एक लाख रुपये मिलने थे।
दूसरा आरोपी नवीन सिंह भी गिरफ्तार, मोबाइल से अहम सुराग मिले
गिरफ्तार अपराधी अभिषेक की निशानदेही पर पुलिस ने छापेमारी करते हुए गिरोह के एक और सदस्य नवीन कुमार सिंह को भी धर दबोचा। उसके पास से एक देसी कट्टा, दो कारतूस और एक मोबाइल फोन बरामद किया गया। मोबाइल की जांच के दौरान पुलिस को इस डकैती की साजिश से संबंधित कई ठोस प्रमाण मिले हैं, जिनमें गिरोह के अन्य सदस्यों के साथ मैसेंजर एप पर हुई बातचीत भी शामिल है।
पहले भी डकैती में रहे हैं शामिल, अब फिर सक्रिय
पुलिस सूत्रों के अनुसार, इस गिरोह के कई सदस्य पूर्व में भी बैंक डकैती जैसे मामलों में जेल जा चुके हैं और वर्तमान में न्यायालय से जमानत पर बाहर हैं। ये सभी एक बार फिर से संगठित होकर बड़ी आपराधिक वारदात को अंजाम देने की फिराक में थे। हालांकि पुलिस की सक्रियता से यह साजिश समय रहते नाकाम कर दी गई।
एसपी के नेतृत्व में की गई कार्रवाई
पुलिस अधीक्षक ललित मोहन शर्मा के निर्देशानुसार, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी (सदर वन) के नेतृत्व में नगर थानाध्यक्ष एवं अवर निरीक्षक संदीप कुमार की टीम ने तत्परता दिखाते हुए इस गिरोह के खिलाफ त्वरित कार्रवाई की।
अन्य अपराधियों की तलाश जारी, संपत्ति जब्ती की तैयारी
पुलिस ने बताया कि गिरोह के अन्य सदस्यों की पहचान कर ली गई है और उनकी गिरफ्तारी के लिए लगातार छापेमारी की जा रही है। साथ ही, जमानत पर मुक्त आरोपियों की जमानत रद्द करने हेतु विधिवत प्रस्ताव न्यायालय में समर्पित किया जा रहा है।
पुलिस यह भी जांच कर रही है कि अपराधियों ने अब तक किन-किन अवैध तरीकों से संपत्ति अर्जित की है। इस संबंध में भारतीय न्यू आपराधिक संहिता (BNS) की धारा 107 के अंतर्गत संपत्ति जब्ती की कानूनी प्रक्रिया प्रारंभ कर दी गई है।
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निष्कर्ष:
सारण पुलिस की यह कार्रवाई अपराधियों के मंसूबों पर पानी फेरने में सफल रही है। इस पूरे मामले ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि पुराने अपराधी जेल से छूटने के बाद भी अपराध की दुनिया में सक्रिय हैं और बड़ी आपराधिक वारदातों को अंजाम देने की कोशिश कर रहे हैं। पुलिस की मुस्तैदी और त्वरित कार्रवाई ने न केवल जिले को एक बड़ी वारदात से बचा लिया, बल्कि ऐसे गिरोहों के खिलाफ कड़ा संदेश भी दिया है।